भीषण गर्मी की दुपहर में, जब छत्तीसगढ़ के जंगल पसीने से तर-बतर होते हैं, तब जमीन से एक हरी खुशबू उठती है. ये है चरोटा, एक जंगली साग, जो किसी राजकुमारी की हरी पोशाक की तरह सूरज की किरणों में झिलमिलाता है. इसी चरोटा से बनती है वो सब्ज़ी, जिसके स्वाद में जंगल की ज़िंदगी और ज़मीन की ताज़गी घुलती है – चरोटा भाजी.
इस सब्ज़ी की कहानी किसी ज़रूरतमंद राजकुमारी की तरह नहीं है, जो किसी शाप से मुक्त होने के लिए बनाई जाती है. ये ज़रूरतमंदों की कहानी है, जिन्होंने जंगल के खज़ाने को अपनी थाली तक पहुंचाया. वो जंगल जो उन्हें फल, फूल और ज़िंदगी देता है, उसी से मिलने वाली इस अनोखी वनस्पति को भला वो कैसे बेकार रहने देते?
चरोटा क्या है?
चरोटा एक प्रकार का जंगली साग है, जो छत्तीसगढ़ के जंगलों में पाया जाता है. यह गर्मी के मौसम में उगता है और इसके पत्ते हरे और चिकने होते हैं. चरोटा में औषधीय गुण भी पाए जाते हैं, जो इसे और भी खास बनाते हैं.
चरोटा भाजी कैसे बनती है?
चरोटा भाजी बनाने की विधि बहुत ही सरल है. सबसे पहले चरोटा के पत्तों को तोड़कर साफ कर लिया जाता है. फिर इन्हें बारीक काट लिया जाता है. इसके बाद एक कड़ाही में तेल गरम किया जाता है और उसमें जीरा, राई, लाल मिर्च, हल्दी और धनिया जैसे मसाले डालकर तड़का लगाया जाता है. फिर इसमें कटे हुए प्याज और टमाटर डालकर भून लिया जाता है. जब तक प्याज और टमाटर अच्छे से न पक जाएं, तब तक इन्हें भूनते रहें. इसके बाद कटे हुए चरोटा के पत्ते डालकर कुछ मिनट तक पकाएं. नमक स्वादानुसार डालें और सब्ज़ी को अच्छी तरह मिला लें. लीजिए तैयार है स्वादिष्ट और पौष्टिक चरोटा भाजी.
चरोटा भाजी के फायदे
चरोटा भाजी न सिर्फ स्वाद में अच्छी होती है, बल्कि इसमें कई पोषक तत्व भी पाए जाते हैं. इसमें विटामिन ए, सी और आयरन भरपूर मात्रा में पाया जाता है, जो शरीर के लिए बहुत ही फायदेमंद होते हैं. चरोटा भाजी पाचन तंत्र को मजबूत बनाने में भी मदद करती है. इसके अलावा, इसमें एंटीऑक्सीडेंट भी पाए जाते हैं, जो शरीर को विभिन्न रोगों से बचाने में मदद करते हैं.
चरोटा भाजी का महत्व
चरोटा भाजी छत्तीसगढ़ की संस्कृति का एक अहम हिस्सा है. यह सब्ज़ी न सिर्फ स्वादिष्ट और पौष्टिक है, बल्कि ग्रामीण अर्थव्यवस्था में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है. चरोटा एक जंगली पौधा है, जिसे लोग जंगल से इकट्ठा करते हैं. इससे ग्रामीणों को अतिरिक्त आय का जरिया मिलता है.
अगली बार जब आप छत्तीसगढ़ आएं, तो चरोटा भाजी का स्वाद जरूर चखें. यह आपको न सिर्फ लज़ीज़ लगेगी, बल्कि आपको छत्तीसगढ़ की संस्कृति की एक झलक भी दिखाएगी.